बिहार :-जन सुराज पदयात्रा के 138वें दिन की शुरुआत सिवान के पचलखी पंचायत स्थित पचलखी हाई स्कूल में सर्वधर्म प्रार्थना से हुई। इसके बाद प्रशांत किशोर सैकड़ों पदयात्रियों के साथ पचलखी से पदयात्रा के लिए निकले। आज जन सुराज पदयात्रा अंगौता, हसुआ, नारायणपुर, गंभीरपुर, सेमरिआ होते हुए मैरवा प्रखंड अंतर्गत बड़का मंझा पंचायत स्थित जन सुराज पदयात्रा शिविर में रात्रि विश्राम के लिए पहुंची। प्रशांत किशोर की पदयात्रा का सिवान में आज 11वां दिन है। वे जिले में 16 से 18 दिन और रुकेंगे और इस दौरान वे अलग-अलग गांवों और प्रखंडों में पदयात्रा के माध्यम से जनता के बीच जायेंगे। उनकी समस्याओं को समझ कर उनका संकलन कर उसके समाधान के लिए ब्लू प्रिंट तैयार करेंगे। दिनभर की पदयात्रा के दौरान प्रशांत किशोर 4 आमसभाओं को संबोधित करेंगे और 6 पंचायत के 9 गांवों से गुजरते हुए 20 किमी की पदयात्रा तय की।
जन सुराज पदयात्रा के दौरान सिवान में एक आमसभा को संबोधित करते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि बिहार के लोग मुख्य रूप से चार मुद्दे जैसे- जाति, हिन्दू- मुस्लिम, भारत-पाकिस्तान और पुलवामा के नाम पर वोट करते हैं, और वोट करने के लिए बिहार के लोगों के पास केवल दो ही विकल्प है – मोदी जी की भाजपा और लालू जी की लालटेन। प्रशांत किशोर ने कहा कि नीतीश कुमार का तो कोई दल ही नहीं है, वो कभी कमल पकड़ के लटक जाते है तो कभी लालटेन पकड़ कर। बिहार की जनता समझ ही नहीं पा रही है कि अगले चुनाव में नीतीश कुमार किसके साथ रहेंगे। बिहार में भाजपा को वोट इसलिए मिल रहा है क्योंकि लोग लालू जी के जंगलराज से बचना चाहते हैं। लालू जी के लालटेन को इसलिए वोट मिल रहा है क्योंकि मुस्लिम विरोधी पार्टी भाजपा से बचा जा सके।
प्रशांत किशोर ने जाति की राजनीति के लिए जनता को जिम्मेदार ठहराया, बोले – नेता नहीं जनता कर रही जाति की राजनीति, वरना लालू जी का बेटा मुख्यमंत्री की दौड़ में नहीं होता।जन सुराज पदयात्रा के दौरान सिवान के अंगौता पंचायत में एक आमसभा को संबोधित करते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि कोई भी नेता बिहार की जनता को नहीं ठग रहा है। कोई नेता और दल अगर जनता को ठगता तो एक या दो बार ठगता, लेकिन आज जनता 50 साल से लगातार नेता और दल का शिकार बन रही है। आज से 50 साल पहले भी बिहार की यही दुर्दशा थी, और आज 50 साल बाद भी कोई बदलाव नहीं आया है। बच्चा जवान हो गया, जवान बुढा हो गया आज भी देश का सबसे गरीब, सबसे ज्यादा पिछड़ा, अशिक्षित, बेरोजगारी वाला राज्य बिहार ही है। बिहार की जनता खुद सुधरने के लिए तैयार नहीं है तो कोई नेता आकर इसे नहीं सुधार सकता। यही बताने के लिए पदयात्रा कर रहे हैं, आपसे वोट नहीं मांग रहे हैं। घर घर जाकर हाथ जोड़ कर समझा रहे हैं कि अगर आप अपने और अपने बच्चों की चिंता नहीं करेंगे तो कोई नेता और दल आपके बच्चों की चिंता नहीं करेगा। दोष बिहार की जनता में है, पदयात्रा के दौरान हमारे साथ 100 बच्चे चल रहे हैं, उसमे आधे बच्चों के शरीर पर कपड़ा और पैर में चप्पल नहीं है।
उन्होंने कहा कि बिहार की जनता हमको बता रही है कि यहां नेता जाति की राजनीती कर रहे है, इस बात का जवाब देते हुए प्रशांत किशोर ने कहा कि कोई नेता जाति की राजनीति नहीं कर रहा है। अगर नेता जाति की राजनीति करते तो आज लालू जी कहते की बिहार का नेता कोई यादव समाज का होगा, लेकिन लालू जी का कहना है कि हमारा लड़का बिहार का नेता होगा। आप सभी यादव समाज के लोग हमे वोट करें। तो ये जाति की राजनीती नहीं ये परिवार के स्वार्थ की राजनीती है।