बिहार में शराब बंदी का धीरे धीरे पोल खुल रहा है। बिहार में प्रशासन डाल-डाल तो शराब माफिया पात-पात चल रहे हैं। आए दिन बिहार में शराब बरामद किया जा रहा हैं लेकिन बिहार में शराब आ कहा से रहा है आखिर बंगाल और हरियाणा उत्तर प्रदेश का शराब बिहार में कैसे पहुँच रहा है। सुशासन बाबू बिहार में शराब बंदी को सफल बनाने के लिए जमीन आसमान एक कर दिये हैं फिर भी बिहार में शराब मिल रहा है। जिसको लेकर विपक्ष के नेता भी सवाल कर रहे हैं।
सुपौल जिले में मुख्यमंत्री ग्राम परिवहन योजना के तहत संचालित एंबुलेंस से शराब की तस्करी का मामला सामने आया है। जिले के सदर थाना की पुलिस ने मंगलवार को क्षेत्र के परसरमा गांव के वार्ड 4 में दीपक साह के दरवाजे पर शराब से लदी एंबुलेंस बरामद की है। वाहन में कुल 173 बोतल अंग्रेजी शराब पाई गई है। दरअसल, परसरमा गांव के चौकिदार शिवजी पासवान को सूचना मिली थी कि दीपक साह के दरवाजे पर एक एंबुलेंस लगी हुई है, जिसमें शराब है। सूचना मिलने के बाद चौकीदार सूचना का सत्यापन करने जैसे ही मौके पर पहुंचा तो शराब तस्करों ने उसके साथ धक्का मुक्की की। इस बात की जानकारी चौकीदार द्वारा सदर थानाध्यक्ष विनोद कुमार सिंह को दी गई। ऐसे में पुलिस मौके पर पहुंची, जहां एंबुलेंस लगी हुई थी और कई लोग खड़े थे। ऐसे में पुलिस ने एंबुलेंस को जब्त करते हुए दीपक शाह के घर के पीछे की जांच की। इस दौरान कुल 173 बोतल विदेशी शराब जब्त की गई।
इस मामले में पुलिस ने सदर थाना में मद्य निषेद कानून के तहत प्राथमिकी दर्ज की है। वहीं, आरोपियों के उपर एससी-एसटी के तहत भी मामला दर्ज किया गया है। फिलहाल पुलिस शराब तस्कर दीपक साह और एंबुलेंस ड्राईवर राघव की तलाश कर रही है। ताकि, शराब तस्करी के मुख्य सरगना को पकड़ा जा सके। लेकिन अब तक सदर पुलिस को सफलता हाथ नहीं लगी है। थाना अध्यक्ष बिनोद कुमार सिंह ने बताया कि चौकीदार द्वारा सूचना दी गई, जिसके बाद पुलिस की टीम घटनास्थल पर पहुंची। एंबुलेंस से शराब लाने की पुष्टि की गई है। ड्राइवर सहित कारोबारी फरार हो गए हैं। सभी के विरुद्ध मामला दर्ज कर जांच की जा रही है। जल्द ही पूरे रैकेट का खुलासा कर लिया जाएगा।
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