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मानवता हुआ शर्मसार गंगा नदी में बहता लगभग 40 से 50 मिला शव ।

अनीश पाठक की रिपोर्ट।
बक्सर में इंसानियत को शर्मशार करने वाली दिखी तस्वीर चौसा के महदेवा घाट पर लाशो का लगा अम्बार ..जिला प्रसासन ने झाड़ा पल्ला कहा ये मेरी नही उत्तर प्रदेश की लाशें है जो यहाँ बह कर आ गई है
कोरोना के इस महा काल में बक्सर जिला के चौसा पास इस्थित महादेव घाट की तस्वीरों ने एक बार पुनः बिचलित कर दिया जब लाशों अम्बार  ने गंगा में इस्थित महदेवा घाट को ढक दिया ।
हालांकि इस घटना का
जैसे  ही वीडियो सामने आया जिला प्रसासन के कान खड़े हो गए और लाशो के अम्बार पर गोल मोल जवाब दे डाले चौसा के बीडीओ अशोक कुमार ने बताया कि ये करीब 40 से 45 लाशें होंगी जो अलग अलग जगहों से बह कर महदेवा घाट पर आ कर लगा गई है बीडीओ साहब ने बताया कि ये लाशें हमारी नही है चुकी हम लोगो ने एक चौकीदार लगा रखा हैं लोग अपनी लाशों को जलाए ऐसे में ये लाशें उत्तरप्रदेश से बह कर आ रही और यहा पर लग जा रही है चुकी यूपी की लाशो को रोकने का कोई उपाय नही है ऐसे में हम इन लाशों के निष्पादन की तैयारी में है।

जबकि इस मामले की दूसरे पहलू पर गौर करे तो कोरोना बक्सर सहित अनेक जिलो में महामारी का रूप ले चुकी है इस बात को बताते हुवे पवनी निवास नरेंद्र कुमार मौर्य बताते है कि चौसा घाट की स्थित काफी दयनीय है कोरोना संक्रमण के कारण यहाँ रोज 100 से 200 लोग आते है और लकड़ी की ब्यवस्था नही होने के कारण लाशें गंगा में ही फेक देते है जिससे कोरोना संक्रमण फैलने का डर बना हुआ है जब कि प्रसासन की कोई भी मदद नही है।
हालांकि  सदर एसडीओ के० के० उपाध्याय ने भी ये कहा कि ये बिहार की नही उत्तरप्रदेश की लाशें हो सकती है क्यो की हमारे यहाँ लाशें जलाने की परंपरा है।
बहरहाल लोगो का सीधा आरोप प्रसानिक नाकामी को तरफ है जबकि लाश उत्तरप्रदेश की है या बिहार ये अलग बहस है जबकि ग्रामीणों के बातों के  अनुसार  मौत के आंकड़ा प्रसासनिक आंकड़े की सच्चाई से बिल्कुल अलग है जो  गंगा में लाशो के अम्बार से साफ दिखता है।

 

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