महिलाएं का कहना है कि सेविका खुशबू कुमारी द्वारा नहीं बच्चे का पोषाहार दिया जाता है नहीं गर्भवती महिला एवं धात्री महिला को सुखा राशन देती है महिलाएं ने बताई की लॉकडाउन के पूर्व 1 किलो चावल ढाई सौ ग्राम दाल एक सौ ग्राम सोयाबीन, दी उसके बाद 8 महीने से कुछ भी नहीं दे रही है।
समाजसेवी लक्ष्मी मल्लिक की फोटो।
महिलाएं ने सभी का पर यदि आरोप लगा है की पंचायत में विभिन्न आंगनबाड़ी केंद्र पर बच्चे को दूध वितरण किया गया लेकिन सुरजापुर वार्ड नंबर 1 स्थित आंगनवाड़ी केंद्र संख्या 226 पर वितरण नहीं किया गया महिलाएं ने यह भी बताएं कि कई बार पदाधिकारी को आवेदन दिए आवेदन पर जांच करने आए पदाधिकारी सेविका के घर से ही जांच कर वापस चले गए जिसको लेकर महिलाएं ने पुनः जिला पदाधिकारी एवं विभाग को आवेदन देकर जांच करने की मांग की है।
आक्रोशित ग्रामीणों ने यह भी कहा कि आंगनवाड़ी केंद्र में अगर किसी घर से 2 बच्चे की नाम दर्ज है तो एक बच्चे का राशन एवं अन्य सुविधा दी जाती है दूसरे को सुविधा से वंचित कर देता है अगर इसकी शिकायत सेविका से की जाती है तो उन्होंने धमकी देती है कि ज्यादा बोलोगे तो इसका भी नाम काट कर हटा देगे।
सेविका खुशबू कुमारी फोटो।
समाजसेवी लक्ष्मी मल्लिक ने कहा कि आंगनवाड़ी केंद्र संख्या 226 के सेविका खुशबू कुमारी द्वारा लूट खसोट की जा रही है इसको लेकर कई बार आवाज उठाएं पदाधिकारी को आवेदन दिए अबतक जांच नहीं हुई है। जिस कारण सेविका अपनी रवैया से बाज नहीं आती है।
सुपरवाइजर रेखा कुमारी ने दूरभाष पर बताइए कि लॉकडाउन के दौरान आंगनवाड़ी सेविका खुशबू कुमारी को ही धात्री एवं गर्भवती महिलाएं के घर तक सुखी राशन एवं अन्य सामान पहुंचाने का उत्तरदायित्व था हालांकि उन्होंने अपने आवास पर वितरण किया ऐसा नहीं करना चाहिए था।