बुधवार की रात्रि हुई मूसलाधार बारिश के कारण प्रखंड क्षेत्र के इलाके में पानी ही पानी नजर आ रहा है। विभिन्न गांव में फूस व मिट्टी के बने घरों में घुटना भर पानी का जमाव हो गया है। बेलदौर प्रखंड क्षेत्र के कंजरी पंचायत, तेलिहार पंचायत,माली पंचायत,पिरनगरा पंचायत, डुमरी पंचायत,बलैठा पंचायत,चोढली पंचायत,इतमादि पंचायत समेत करीब एक हजार एकड़ से अधिक लगी धान की फसल जलमग्न हो गया तथा इसी प्रखंड क्षेत्र पानी ही पानी नजर आ रही है। निचले इलाके के समीप झुग्गी झोपड़ी में रह रहे मजदूर परिवर्ती के ग्रामीणों को घर आंगन में घुटना भर पानी जमा हो गया है।
रुक-रुक कर हो रही बारिश ने ग्रामीणों को भय सता रही है। इसी कड़ी में बेलदौर प्रखंड क्षेत्र के करीब 30 हजार ग्रामीण बाढ़ के पानी से चिंतित हैं। उन लोगों को कहना है कि कोरोना महामारी से जूझ रहे ग्रामीण अभी उबर नहीं पाया कि मूसलाधार बारिश ने प्रखंड क्षेत्र को पानी पानी कर दिया। कंजरी पंचायत के किसान विद्यानंद चौधरी, रविंदर चौधरी, राम पुकार चौधरी, वार्ड सदस्य प्रतिनिधि विनोद चौधरी, पंकज सिंह, जनार्दन सिंह, मंटू सिंह समेत दर्जनों किसानों ने बताया कि एक एक किसान करीब 12 बीघा खेत में धान की फसलें लगाए हुए थे, जो बाढ़ के चपेट में आने से डूब कर बर्बाद हो चुका। यदि सरकार के द्वारा दिए जा रहे छतिपूर्ति में बटेदार किसान को मुआवजा नहीं मिलती है। जिसको लेकर चिंता सता रहा है। वही वार्ड सदस्य प्रतिनिधि विनोद चौधरी ने बताया कि करीब एक बीघा खेत में धान के खेती लगाने पर करीब 10 हजार रुपए की लगती है। अबकी बार बाढ़ के चपेट में सभी किसान का धान की फसलें बर्बाद हो चुका। लगातार बारिश होने से बाढ में वृद्धि हो रही है, निचले इलाके के ग्रामीणों को बाढ़ का सामना करना पड़ रहा है। सरकार के द्वारा दिए जा रहे राहत सामग्री में लूट खसोट जारी है।